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आज हम आपको बिहार में फैलने वाली बिमारी एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम क्या है (what is acute encephalitis syndrome in hindi) इसके बारे में बताएगे जो की एक तरह का बुखार है और जो बच्चो में फैलता है

इस बुखार के कारण बिहार में बहुत से बच्चो की जान चली गई थी इस बुखार का असर हमारे दिमाग पर होता है और होने के मुख्या कारण का अभी तक पता नहीं चल पाया है जानते है एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम के बारे में

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम क्या है – what is acute encephalitis syndrome in hindi

एक्यूट-इंसेफेलाइटिस- सिंड्रोम- क्या-है

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम को चमकी बुखार और दिमागी बुखार भी कहाँ जाता है और यह बुखार बच्चे को होता है और समय पर इलाज न होने के कारण यह जानलेवा हो सकता है

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम को AES के नाम से भी जाना जाता है और एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम मुख्या रूप से कुछ एसे मोश्म है जिनमे यह तेजी से फ़ैल जाती है

यह बिमारी बिहार और पश्चिम बंगाल में अधिक देखने को मिलती है और यह बिमारी 1 साल से लेकर 10 साल के बच्चे को होती है और ज्यादा 3 से 5 साल के बच्चो में फैलती है और जानलेवा है

देखा गया है की जिन बच्चो को एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम होता है उनमे हाइपोगलैसिमिया या ब्लड शुगर लेवल बहुत कम हो जाता है जिसके कारण उनकी जान भी जा सकती है

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम को चमकी बुखार इसलिए कहाँ जाता है क्युकी इसमें सबसे पहले बच्चे को सिर में दर्द होता है उलटी होती है बुखार आता है

अगर समय पर इलाज नहीं किया जाता है तो बच्चे को झटके लगते है जैसे अचानक से हमे कोई डरा देता है एसा लगता है इस झटके को देखते हुए इसे चमकी बुखार कहते है

इसलिए देखा गया है की जब चमकी बुखार होता है तो ब्लड शुगर लेवल में सुधार करके चमकी बुखार को रोका जा सकता है और इसे कम किया जा सकता है

चमकी बुखार मुख्या हमारे दिमाग पर असर करता है इसलिए अगर आपको अपने बच्चे में सिर दर्द , उलटी , बुखार , रौशनी में न देखा पाना या उलटी सीधी बाते करना आदि लक्ष्ण दिखे तो डॉक्टर से जाँच करवाए

क्युकी अगर समय पर इलाज नहीं करवाया जाता है तो बच्चे में झटके की समस्या उत्पन होती है जो आपके बच्चे के लिए जानलेवा हो सकती है

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम के लक्ष्ण – symptoms of acute encephalitis syndrome in hindi

चमकी बुखार होने से पहले आपको अपने बच्चे में कुछ लक्ष्ण दिखाई देते है जिसकी पहचान करना आपके लिए बहुत ज्यादा जरुरी होता है वो भी समय के अनुसार तभी चमकी बुखार को रोका जा सकता है जानते है चमकी बुखार के लक्ष्ण के बारे में

(1) . सिर में बहुत दर्द होगा

(2) . बच्चे को उलटी होगी

(3) . बहुत तेज बुखार होगा

(4) . ज्यादा रौशनी में देखने में समस्या होगी

(5) . बच्चे को झटके लगेगे (चमकी होगी)

(6) . बच्चा उलटी सीधी बाते करेगा

(7) . दस्त लग सकती है

(8) . पेशाब रोकने में समस्या होती है

(9) . दोरे पड़ते है

(10) . बच्चा कोमा में जा सकता है

अगर बच्चे में आपको उपर बताए गए लक्ष्ण दिखाई दे तो आपको तुरंत ही डॉक्टर के पास जाना चाहिए क्युकी अगर बुखार दिमाग में फ़ैल जाता है तो जानलेवा हो सकता है

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम के कारण – causes of acute encephalitis syndrome in hindi

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम के मुख्या कारण का अभी तक पता नहीं चल पाया है परंतु फिर एसा कहा जाता है की यह लीची के खाने से होता है

मतलब की लीची के मोश्म में यह फैलता है और लीची के सेवन से यह होता है एसा माना जाता है की लीची के अंदर कुछ एसे रसायन होते है

जिनका सेवन अगर बचे करते है तो ब्लड शुगर की मात्रा कम होने लगती है जिसके कारण उन्हें चमकी बुखार होता है लीची के मोश्म में चमकी बुखार को पाया गया था इसलिए इसका जिमेदार लीची को माना जाता है

परन्तु इसके बारे में अभी तक कुछ नहीं कहाँ जा सकता है इस बात में कितनी सचाई है इसके बारे में अभी तक पता नहीं चल पाया है

इसी के साथ एक होता है जापानी इंसेफेलाइटिस यह बिमारी मुख्या रूप से मछरो के काटने से ज्यादा फैलती है क्युलेक्स नामक मच्छर के काटने से यह बिमारी होती है

अगर किसी बच्चे को या व्यक्ति को क्युलेक्स नामक मच्छर काट लेता है तो उसके कुछ दिन के बाद ही व्यक्ति में लक्ष्ण नजर आने लगते है और समस्या बढ़ जाती है

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम से बचाव – prevention of acute encephalitis syndrome in hindi

आप कुछ बातो का ध्यान रखकर एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम से अपने बच्चे का बचाव कर सकते है जानते है चमकी बुखार से बचने के उपाय के बारे में

(1) . डॉक्टर के पास जाए

आपको ध्यान रखना है की अगर आपको अपने बच्चे में उपर बताए गए लक्ष्ण दिखाई देते है तो आपको तुरंत ही अपने बच्चे को लेकर डॉक्टर के पास जाना चाहिए और जांच करवानी चाहिए अगर आप समय रहते एसा करते है तो एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम से बचाव होगा

(2) . कुपोषित बच्चे का ध्यान ज्यादा रखे

अगर आपका बच्चा कुपोषित है तो आपको उसका ज्यादा ध्यान रखना है क्युकी कुपोषित बच्चे को एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम होने का खतरा ज्यादा होता है इसलिए ध्यान रखे की अपने बच्चे को समय पर खाना खिलाए रात को बिना खाना न सोने दे

(3) . बच्चे को खाली पेट लीची न खाने दे

आपको ध्यान रखना है की आपका बच्चा खाली पेट लीची का सेवन न करे क्युकी एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम का कारण लीची को बताया जाता है इसलिए सुबह उठते ही बच्चे को लीची कभी न दे

(4) . गर्मी और बारिश के मोश्म में बच्चे को दूर रखे

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम से बचाव का एक उपाय है की अपने बच्चे को गर्मी और बारिश के मोश्म से दूर रखे क्युकी एसा माना जाता है की एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम गर्मी और बारिश के मोश्म में अधिक फैलता है इसलिए बच्चे को गर्मी से दूर रखे

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम का इलाज – treatment of acute encephalitis syndrome in hindi

एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम का अभी तक कोई ठोस इलाज नहीं मिल पाया है परन्तु कुछ दवाइयों की मदत से और समय पर इलाज से इसको कम किया जा सकता है

अगर आपको एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम के लक्ष्ण जैसे सिर में दर्द , उलटी , बुखार आदि एक साथ नजर आता है तो आपको समय रहते डॉक्टर से मिलना चाहिए

क्युकी आप जितना जल्दी अपने बच्चे को डॉक्टर के पास लेकर जाएगी एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम को उतनी आसानी से ठीक किया जा सकता है

कुछ दवाइयों की मदत से उलटी , बुखार और सिर दर्द को कम किया जाता है ताकि एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम को रोका जा सके सबसे पहले लक्षणों को कम किया जाता है

अगर आप समय पर नहीं जाते है तो यह बुखार दिमाग में चढ़ जाता है जिसे बच्चे को चमकी आने लगती है कोमा हो सकता है और जान भी जा सकती है इसलिए समय रहते लक्षणों की जांच करे और इलाज करवाए

निष्कर्ष

आशा करते है की आपको एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम क्या है इसके बारे में पता चल गया होगा और अब आप उपर बताई गई सभी बातो का ध्यान रखेगे यह बीमारी बच्चे के लिए बहुत जानलेवा है इसलिए समय रहते इसका इलाज करवाना बहुत जरुरी होता है इसलिए ध्यान रहे अगर लक्ष्ण दिखाई देते है तो डॉक्टर की सलाह ले

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जानिए कुछ सवालो के जवाब

Q . जापानी इंसेफेलाइटिस किस मच्छर के काटने से होता है ?

ans . क्युलेक्स नामक मच्छर के काटने से जापानी इंसेफेलाइटिस बिमारी होती है |

Q . एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम कितने साल के बच्चे को होता है ?

ans . एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम मुख्या रूप से 1 से 10 साल के बच्चे को ज्यादा होता है |

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